बहुत वक़्त के बात आज फिर से कुछ लिखने का मन हुवा है लिखने की शुरुवात स्टोरी के नाम से की है "वो पुराने ख़त और उनके जवाब "
एक वक़्त था जब टेक्नॉलोजी इतनी विस्तरित नहीं थी , उन दिनों लोगो को किसी से मिलने और बात करने के लिए मिलो चलना पड़ता था या अपने मन की बात उन तक पहुचाने के लिए ख़त का सहारा लेना पड़ता था और उस खत के जवाब में हफ्तों तक इंतज़ार करना पड़ता था, ऐसे ही वक़्त की यादो से कुछ पल चुरा कर उन्हें कहानी का रूप दिया है ,आशा करता हु उस पल की ये यादे आपका हाथ थाम कर आपको अपनी दुनिया में ले चलेगी...
एक वक़्त था जब टेक्नॉलोजी इतनी विस्तरित नहीं थी , उन दिनों लोगो को किसी से मिलने और बात करने के लिए मिलो चलना पड़ता था या अपने मन की बात उन तक पहुचाने के लिए ख़त का सहारा लेना पड़ता था और उस खत के जवाब में हफ्तों तक इंतज़ार करना पड़ता था, ऐसे ही वक़्त की यादो से कुछ पल चुरा कर उन्हें कहानी का रूप दिया है ,आशा करता हु उस पल की ये यादे आपका हाथ थाम कर आपको अपनी दुनिया में ले चलेगी...
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